यह कहानी जमीन के अंदर की जिदंगी का पता देती है। जमीन के ऊपर मंगल ग्रह पर सब कुछ कैसा होगा, इसकी कल्पना करो और लिखो।


छोटू के पापा की बातें जानकर ऐसा लगता है कि मंगल ग्रह के ऊपर का जीवन धरती की तरह बिल्कुल सामान्य रहा होगा। वहां पर पेड़-पौधे और पशु-पक्षी भी होंगे। हालांकि मौसम में बदलाव की वजह से धीरे-धीरे सबकुछ बदलने लगा होगा। सूरज की रोशनी से पशु-पक्षी और पेड़-पौधों को जीवन मिलता होगा लेकिन मौसम के बदलाव की वजह से वहां का माहौल बदलने लगा होगा। धीरे-धीरे सब नष्ट होने लगा होगा। यहां तक कि लोगों का सांस लेना भी मुश्किल हो रहा होगा। बाद में मंगल की धरती पर जीवन के आवश्यक परिस्थितियाँ नष्ट हो गयीं और फिर मंगल की धरती पर आम लोगों का जीवन संभव नहीं रहा और फिर वे उस ग्रह पर जमीन के नीचे गुफाओं में रहने के लिए मजबूर हो गए|


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